सनबीम स्कूल बलिया में मनाया गया पहला वर्ल्ड मेडिटेशन डे
Ballia News : सनबीम स्कूल बलिया में अपने शैक्षणिक गतिविधियों तथा विद्यार्थियों को सर्वांगीण रूप से विकसित करने हेतु सदैव चर्चा में रहता है। विद्यालय अपने विद्यार्थियों को शिक्षा के साथ धार्मिक ,सामाजिक और सांस्कृतिक कर्तव्यों का निर्वहन करने हेतु निरंतर प्रेरित करता रहता है। इसी क्रम में विद्यालय प्रांगण में पहला वर्ल्ड मेडिटेशन डे मनाया गया। इस कार्यक्रम में स्कूल के प्रबंध समिति के सभी सदस्य, विद्यालय निदेशक डॉ कुंवर अरुण सिंह, प्रधानाचार्या डॉ अर्पिता सिंह, विद्यालय प्रशासक संतोष कुमार चतुर्वेदी, डीन एकेडमिक श्रीमती सहर बानू, हेडमिस्ट्रस श्रीमती नीतू पांडे सभी कोऑर्डिनेटर, शिक्षकगण और विद्यार्थियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ अमिता रानी ने किया। श्रीमती अमिता रानी भूतपूर्व महिला चिकित्सक है और उन्होंने योग पर भी योग्यता प्राप्त की है।उन्होंने अपने उद्घाटन भाषण में ध्यान के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि ध्यान न केवल मानसिक शांति प्रदान करता है, बल्कि यह हमारी एकाग्रता और आंतरिक संतुलन को भी मजबूत करता है। उन्होंने विद्यार्थियों को नियमित ध्यान का अभ्यास करने के लिए प्रेरित किया।
कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन और प्रार्थना से हुई। इसके बाद ध्यान सत्र का आयोजन किया गया, जिसमें सभी उपस्थित सदस्यों ने सामूहिक रूप से ध्यान का अभ्यास किया। ध्यान सत्र का नेतृत्व विद्यालय के ध्यान विशेषज्ञों द्वारा किया गया, जिन्होंने विद्यार्थियों और शिक्षकों को ध्यान की विभिन्न तकनीकों और उनके लाभों के बारे में जानकारी दी।
इस अवसर पर विद्यालय निदेशक डॉ कुंवर अरुण सिंह ने विद्यार्थियों को ध्यान को जीवन का अभिन्न हिस्सा बनाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि नियमित ध्यान के माध्यम से विद्यार्थियों को न केवल अपने अध्ययन में सहायता मिलेगी, बल्कि उनके व्यक्तित्व का भी समग्र विकास होगा।
कार्यक्रम के दौरान विद्यार्थियों ने ध्यान और आत्मविकास पर आधारित कई प्रश्न भी पूछे और अपनी जिज्ञासा को शांत किया।, जिसे सभी ने खूब सराहा। इस दौरान विद्यार्थियों ने अपने अनुभव साझा किए और बताया कि ध्यान उनके जीवन को किस प्रकार सकारात्मक रूप से प्रभावित कर रहा है। कार्यक्रम का समापन धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ। प्रधानाचार्या ने सभी उपस्थित सदस्यों का धन्यवाद किया और इस तरह के आयोजनों को भविष्य में भी जारी रखने का आश्वासन दिया। सुनने स्कूल बलिया का यह आयोजन ध्यान के प्रति जागरूकता फैलाने और समाज में मानसिक शांति व सकारात्मकता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ।
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